कविता कोश और गद्य कोश जैसी परियोजनाओं के संस्थापक श्री सम्यक ललित साहित्य में विकलांगता-विमर्श को नियमित करने की दिशा में सतत् प्रयासरत हैं। इनकी लोकप्रिय संस्मरणात्मक पुस्तक “विटामिन ज़िन्दगी” विकलांगता केन्द्रित साहित्य में एक मील का पत्थर मानी जाती है। आप विकलांगता विमर्श को साहित्य में एक आंदोलन की तरह स्थापित करने की दिशा में सतत कार्य कर रहे हैं। विकलांगता-केन्द्रित साहित्य की रचना को प्रोत्साहित करने के लिये सम्यक ललित जी ने “विटामिन ज़िन्दगी पुरस्कार” की स्थापना भी है।
इसी दिशा में एक और कदम के रूप में “मैं तुम्हारी तरह” शीर्षक से यह कहानी संकलन प्रस्तुत है। इस संकलन में अनेक रचनाकारों की चुनिंदा कहानियाँ हैं। सभी कहानियों का केन्द्र-बिंदु विकलांगता और मानव जीवन पर विकलांगता का प्रभाव है। संकलन में विटामिन ज़िन्दगी पुरस्कार विजेता कहानियों को भी रखा गया है। इंसान के जीवन में विकलांगता के कारण बनने वाले आयामों में लिखी गई, ये हैं…
कुछ अलग-सी कहानियाँ!
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